देहरादून- 05 दिसंबर 2022- उत्तराखंड बचाओ आंदोलन टीम ने उत्तराखंड की बेटी किरण नेगी के साथ हुए बर्बरता और उसके बाद उत्तराखंड की बेटी की हत्या के इंसाफ के लिए सुप्रीम कोर्ट में आज रिव्यू पिटिशन फाइल किया है। उत्तराखंड बचाओ आंदोलन के जनक श्री जगदीश भट्ट ने अपने टीम के प्रयास से इस आंदोलन को यहां तक लाए हैं, जहां पर सुप्रीम कोर्ट में यह रिव्यू पिटिशन फाइल की गई है। श्री जगदीश भट्ट ने कहा है कि हम किरण नेगी की हत्या के इंसाफ के लिए उत्तराखंड के शासन प्रशासन से भी गुहार लगाए चुके हैं परंतु इस पर कोई कार्रवाई नहीं की गई है। किरण नेगी उत्तराखंड की बेटी थी और उसे इंसाफ मिलना चाहिए। जहां पर जिस अपराधियों को फांसी की सजा मिलनी चाहिए वह अब जेल से रिहा होकर खुलेआम घूम रहा है। उत्तराखंड बचाओ आंदोलन टीम सुप्रीम कोर्ट से पुनः यह मांग करती है कि इस जघन्य अपराध करने वाले दोषियों को फांसी की सजा मिले एवं उत्तराखंड की बेटी किरण नेगी को इंसाफ मिले।
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Spread the loveराज्य में पर्यटन क्षेत्र की ध्वजवाहक वीर चन्द्र सिंह गढ़वाली पर्यटन स्वरोजगार योजना के अन्तर्गत दी जाने वाली राज सहायता में लगभग दोगुने से भी अधिक की वृद्धि की गई है। पर्वतीय क्षेत्र में गैर वाहन मद में पर्यटन इकाईयों की स्थापना के लिए अब 33 लाख (33 प्रतिशत) जबकि मैदानी क्षेत्र में अधिकतम 25 लाख (25 प्रतिशत) तक की सब्सिडी का लाभ मिल सकेगा। टैक्सी वाहनों की खरीद के लिए यह राशि 15 लाख (25 प्रतिशत) तथा इलेक्ट्रिक/लग्जरी बस के लिए अधिकतम 20 लाख (50 प्रतिशत) होगी। गुरुवार को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में इस फैसले को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना की नियमावली में संशोधन करते हुए गैर वाहन मद में सरकारी सहायता की अधिकतम राशि को 15 लाख से बढ़ाकर 33 लाख कर दिया गया है। इलेक्ट्रिक व लक्जरी बस हेतु मिलने वाली अधिकतम सहायता राशि को मौजूदा 15 लाख रुपये से बढ़ाकर 20 लाख रुपये कर दिया गया है। वीर चंद्र सिंह गढ़वाली पर्यटन स्वरोजगार योजना नियमावली 2002 में नियम-6 के तहत गैर वाहन मद…