देहरादून। इंडियन स्कूल ऑफ बिजनेस (आईएसबी) में भारती इंस्टीट्यूट ऑफ पब्लिक पॉलिसी (बीआईपी) के इंडिया डाटा पोर्टल (आईडीपी) की ओर से शनिवार को उत्तरांचल प्रेस क्लब के साथ साझेदारी में उत्तराखंड में पत्रकारों के लिए ‘समाचार बनाने एवं प्रस्तुत करने के लिए खुले डाटा का उपयोग’ करने संबंधी एक दिवसीय कार्यशाला आयोजित की गई। कार्यशाला में पत्रकारिता में डाटा का उपयोग करने और इंडियाडेटापोर्टल-कॉम का प्रयोग करते हुए आकर्षक विज़ुअलाइज़ेशन के माध्यम से डाटा कैसे प्रस्तुत किया जाए, इस पर प्रकाश डाला गया।
उत्तरांचल प्रेस क्लब सभागार में आयोजित कार्यशाला में बीआईपीपी में इंडिया डाटा पोर्टल की सीनियर कंसल्टेंट (कम्युनिकेशन एंड आउटरीच) दीप्ति सोनी ने कहा कि इस पोर्टल में केंद्र और राज्य की सार्वजनिक एजेंसियों और सरकारी विभागों से लिए गए डाटासेटों की विस्तृत श्रृंखला उपलब्ध है। कोई भी पत्रकार अपने समाचार में प्रयोग करने के लिए इसमें उपलब्ध सभी तरह के डाटा का प्रयोग कर सकता है। उन्होंने कहा कि आईडीपी शासन में पारदर्शिता बढ़ाने और नीति निर्माण के महत्वपूर्ण पहलुओं से संबंधित सार्वजनिक डाटा तक पहुंचने और उनका उपयोग करने के नागरिकों के अधिकार से जुड़ी एक पहल है।
उन्होंने बताया कि सभी तरह का डाटा हिंदी, बंगाली, अंग्रेजी, मराठी, उड़िया और तेलुगु आदि छह भारतीय भाषाओं में उपलब्ध है। आईडीपी पर उपलब्ध डाटा को आसानी से विजुअलाइज भी किया जा सकता है। इससे समाचार की विश्वसनीयता को बढ़ाया जा सकता है। इंडिया डाटा पोर्टल न केवल डाटा प्रदान करता है, बल्कि स्टोरी में उपयुक्त विज़ुअलाइज़ेशन देकर इसे पाठकों के लिए और अधिक आकर्षक बना सकता है। साथ ही यह गलत सूचना और फर्जी खबरों की आशंका को भी काफी कम करने में मददगार साबित हो सकता है।
इंडिया डाटा पोर्टल के कंसल्टेंट उपेंद्र सिंह ने कहा कि भविष्य में भी उत्तराखंड के पत्रकारों के लिए इस तरह की कार्यशालाएं आयोजित की जाएंगी। प्रेस क्लब अध्यक्ष जितेंद्र अंथवाल ने आईडीपी के दोनों कंसल्टेंटों और कार्यशाला में शामिल हुए पत्रकारों व एसजीआरआर विश्वविद्यालय के जनसंचार विभाग की शिक्षिकाओं और छात्र-छात्राओं का आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि आज डाटा का प्रयोग पत्रकारों के लिए और भी महत्वपूर्ण हो गया है।
इंडिया डाटा पोर्टल बहुआयामी डाटा उपलब्ध कराने के साथ ही उनका आसानी से चित्रण करना भी बताता है। क्लब महामंत्री ओपी बेंजवाल ने कहा कि कार्यशाला सभी प्रतिभागियों के लिए निश्चित तौर पर उपयोगी साबित हुई है। कार्यशाला में एसजीआरआर विश्वविद्यालय की जनसंचार विभाग की एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. आशाबाला, डॉ. आरती भट्ट भी मौजूद रहीं। इससे पहले पूर्व अध्यक्ष नवीन थलेड़ी, भूपेंद्र कंडारी, पूर्व महामंत्री संजीव कंडवाल, गिरिधर शर्मा, उपाध्यक्ष गीता मिश्रा, कार्यकारिणी सदस्य सोबन सिंह गुसाईं, राजकिशोर तिवारी, कोषाध्यक्ष नवीन कुमार, संप्रेक्षक विनोद पोखरियाल, सदस्य नूतन वरूण व नेहा बिष्ट ने अतिथियों का स्वागत किया व स्मृति चिह्न प्रदान किए।